Zindagi ke Rang......Bitti ke Sang (small stories to change the mindset & Transform Your Life
Bitti Sodhi
20 episodes
9 months ago
ऐ जिंदगी तेरा क्या कहना, लाखों तेरे रंग हैं
मोर जैसे झूमती या पर्वत जैसी तू चुप है
मां जैसी शीतल है या पिता के जैसी धूप है
खुशियों सी रंगीली और दर्द सी बदरंग है
उचित अनुचित से परे, आनन्द तेरा रंग है
आंसू है, मुस्कान है, उम्मीद है, भगवान है
केसरिया है, सफेद है और हरा भी तेरा अंग है
तू धर्म है, इमान है, हर शख्स का तू रंग है
पवित्र सी किसी उपवन में ईश्वरीय सारंग है
कहीं है श्वेत और कहीं श्याम तेरा रंग है
जंग की बिसात क्या? आप ही तू जंग है
कभी वैभवशाली, कभी विध्वंसकारी सब तेरा ही रंग है
हो हवा का रूख जिधर भी तेरा अपना ही तरंग है!!
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ऐ जिंदगी तेरा क्या कहना, लाखों तेरे रंग हैं
मोर जैसे झूमती या पर्वत जैसी तू चुप है
मां जैसी शीतल है या पिता के जैसी धूप है
खुशियों सी रंगीली और दर्द सी बदरंग है
उचित अनुचित से परे, आनन्द तेरा रंग है
आंसू है, मुस्कान है, उम्मीद है, भगवान है
केसरिया है, सफेद है और हरा भी तेरा अंग है
तू धर्म है, इमान है, हर शख्स का तू रंग है
पवित्र सी किसी उपवन में ईश्वरीय सारंग है
कहीं है श्वेत और कहीं श्याम तेरा रंग है
जंग की बिसात क्या? आप ही तू जंग है
कभी वैभवशाली, कभी विध्वंसकारी सब तेरा ही रंग है
हो हवा का रूख जिधर भी तेरा अपना ही तरंग है!!
Zindagi ke Rang......Bitti ke Sang (small stories to change the mindset & Transform Your Life
6 minutes 23 seconds
4 years ago
दुःख का कारण (a short story)
जब हम किसी व्यक्ति या चीज़ से जुड़े होते हैं तो उसके छिन जाने यह दूर हो जाने का हमें दुख होता है । लेकिन यदि हम किसी चीज़ को ख़ुद से अलग करके देखते हैं तो दुख हमें छूता तक नहीं है ।इसलिए दु खी होना या न होना पड़ता हमारी सोच और मानसिकता पर निर्भर करता है।।
Zindagi ke Rang......Bitti ke Sang (small stories to change the mindset & Transform Your Life
ऐ जिंदगी तेरा क्या कहना, लाखों तेरे रंग हैं
मोर जैसे झूमती या पर्वत जैसी तू चुप है
मां जैसी शीतल है या पिता के जैसी धूप है
खुशियों सी रंगीली और दर्द सी बदरंग है
उचित अनुचित से परे, आनन्द तेरा रंग है
आंसू है, मुस्कान है, उम्मीद है, भगवान है
केसरिया है, सफेद है और हरा भी तेरा अंग है
तू धर्म है, इमान है, हर शख्स का तू रंग है
पवित्र सी किसी उपवन में ईश्वरीय सारंग है
कहीं है श्वेत और कहीं श्याम तेरा रंग है
जंग की बिसात क्या? आप ही तू जंग है
कभी वैभवशाली, कभी विध्वंसकारी सब तेरा ही रंग है
हो हवा का रूख जिधर भी तेरा अपना ही तरंग है!!