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Sci-fi Talk
Neha S Bhatt
7 episodes
1 month ago

Information and knowledge about the space technology and science development.

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India Aditya L-1 Mission
Sci-fi Talk
3 minutes
2 years ago
India Aditya L-1 Mission
आदित्य एल-1 सूर्य मिशन:-

भारत के पहले सूर्य मिशन आदित्य एल-1 स्पेसक्राफ्ट को सूर्य की स्टडी के लिए भेजा गया है.. श्री हरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र से 2 सितंबर 2023 को सुबह 11 बजकर 50 मिनट पर आदित्य एल1 को PSLV-XL रॉकेट से लॉन्च किया...फिर PSLV-XL रॉकेट ने 63 मिनट बाद आदित्य एल-1 को धरती के लोअर ऑर्बिट में छोड़ दिया..दोनों अलग हो गए..जिसके बाद आदित्य एल-1 की 125 दिन का यात्रा शुरू हो गई..धरती के लोअर ऑर्बिट के बाद 16 दिन आदित्य एल-1 धरती के चारों तरफ पांच ऑर्बिट मैन्यूवर करके सीधे धरती की गुरुत्वाकर्षण वाले क्षेत्र यानी स्फेयर ऑफ इंफ्लूएंस (SOI) से बाहर जाएगा...इस फेज में चुनौतियां होती हैं..और इससे बाहर निकलने का मतलब ये है कि आदित्य एल1 का आधा मिशन पूरा..इसके बाद शुरु होगी क्रूज फेज स्टेज और आदित्य एल1 हैलो ऑर्बिट में एंट्री करके यहीं पर सूर्य से एक निश्चित दूरी एल-1 यानि लैंगरेज़ प्वाइंट पर स्थापित होगा..लैंगरेज प्वाइंट वो जगह है जहां अंतरिक्ष में पृथ्वी और सूरज की ग्रैविटी आपस में टकराती है..पृथ्वी की ग्रैविटी खत्म होते ही सूरज की ग्रैविटी शुरु हो जाती है..धरती और सूरज के बीच पांच लैगरेंज प्वाइंट है..जिनमें से एक एल-1 जिसकी दूरी धरती से 15 लाख किलोमीटर है वहां पर आदित्य एल-1 स्थापित होकर सूर्य का अध्ययन करेगा..आदित्य एल-1 का वजन 1480 किलोग्राम है..इसमें 7 पेलोड यानि उपकरण हैं जो सूर्य के फोटोस्फीयर, क्रोमोस्फीयर और कोरोना यानि सूरज की बाहरी सतह की जांच करेंगे..आदित्य एल-1 अगले 5 साल तक काम करेगा..इस दौरान सूरज की किरणें अंतरिक्ष की गतिविधियों को कैसे प्रभावित करती हैं इसका अध्ययन करेगा..इलेक्ट्रोमैग्नेटिक और मैंग्नेटिक फील्ड के आयन पार्टिकल्स की भी स्टडी करेगा...सूर्य कैसे मौसम को प्रभावित कर सकता है इसका डेटा भेजेगा...
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